अभी पिछले २६ जनवरी को राजीव श्रीवास्तव के संस्था विशाल भारत संस्थान गया था.उन्होने उस दिन एक नया सामाजिक रास्ट्रीय आन्दोलन शुरु किया है भारतवंशी परिवार आन्दोलन । इसकी सुरुआत १०० लोगो से ऊपर लोगो ने इसकी शपथ लेकर की। इसका उद्देश्य है कि जति -धर्म से ऊपर उठकर पहले सभी सिर्फ़ भारतवंशी रहे। कई हिंदू और मुसलमानों ने भारतवंशी परिवार मी जुड़ने कि शपथ वाराणसी के भारत माता मन्दिर में ली। इसके सदस्य अपने सामाजिक जीवन मे भारतवंशी टाइटल का ही प्रयोग करेंगेजैसे राजीव श्रीवास्तव हो गएँ राजीव भारतवंशी।
वस्तुतः, राजीव भारतवंशी पिछले १७ सालों से रास्ट्रीय एकता और सामाजिक उत्थान के लिए कम कर रहे हैं। अभी कुछ सालों से वे लाल्लापुर के मुस्लिम बस्ती में काम कर रहें हैं। वहाँ वे बुनकरों और कूड़े चुनने वाले बच्चो के लिए स्कूल चला रहें हैं तथा मुस्लिमों मे रास्ट्रीय भावना बढ़ने के लिए काम कर रहें हैं.इन वर्षों मे उन्होने अनुभव किया कि हमारे एकता कि सबसे बड़ी बाधा हमारा पहले हिंदू या मुस्लमान होना है, इसलिए उन्होने एक भारतवंशी परिवार कि कल्पना की जहाँ सब पहले सिर्फ़ भारतवंशी हो ।उन्ही की संस्थान की एक लड़की नाजमीन ने हनुमान चालीसा का उर्दू मे अनुवाद किया था ।
इस आन्दोलन पर आपकी राय का स्वागत है और यदि सुझाव हो तो और अच्छी बात है ,आप भी इससे जुड़ सकते हैं .इस आन्दोलन और इन सबसे जुड़ी और बातें आगली पोस्ट में। जय हिंद
-दर्शन भारतवंशी